हर दिन किन-किन भगवानों की पूजा करनी चाहिए?

पूजा-पाठ का भारतीय संस्कृति में एक विशेष महत्व है। हर दिन किसी न किसी विशेष देवता को समर्पित होता है और उस दिन उनकी आराधना करने से जीवन में सुख, शांति, समृद्धि और स्वास्थ्य की प्राप्ति होती है। यह परंपरा न केवल आध्यात्मिक रूप से महत्वपूर्ण है, बल्कि मानसिक शांति देने वाली भी है।

सप्ताह के सात दिनों में किस भगवान की पूजा करें?


रविवार का दिन सूर्य भगवान को समर्पित होता है। इस दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करके जल में लाल फूल, अक्षत और कुमकुम डालकर सूर्य को अर्घ्य देना चाहिए।
लाभ: स्वास्थ्य में सुधार, तेज और ऊर्जा की वृद्धि।


सोमवार को शिवजी की पूजा विशेष फलदायी मानी जाती है। शिवलिंग पर जल, दूध और बेलपत्र अर्पित करें।
लाभ: मानसिक शांति, रोगों से मुक्ति और परिवार में सुख।


यह दिन हनुमान जी और मंगल देवता को समर्पित होता है। लाल चोला, सिंदूर, चने और गुड़ का भोग अर्पित करें।
लाभ: शक्ति, साहस, शत्रु बाधा से रक्षा।


बुधवार को बुद्धि और व्यापार के देवता गणेश जी की पूजा करें। दूर्वा, मोदक और हरी वस्तुएं चढ़ाएं।
लाभ: बुद्धि, वाणी में सुधार, शिक्षा और व्यवसाय में सफलता।


इस दिन पीले वस्त्र पहनकर पीले फूलों और चने की दाल से भगवान विष्णु की पूजा करें।
लाभ: ज्ञान, धन, सम्मान और वैवाहिक सुख।


शुक्रवार को लक्ष्मी माता या संतोषी माता की पूजा करें। खट्टा न खाएं और सफेद या पीले वस्त्र पहनें।
लाभ: धन-वैभव, सौभाग्य और सुख-शांति।


शनिवार को शनिदेव की पूजा विशेष रूप से की जाती है। सरसों का तेल, काले तिल और काली वस्तुएं चढ़ाएं। साथ ही हनुमान चालीसा का पाठ भी करें।
लाभ: शनि दोष से मुक्ति, कर्म सुधार और नकारात्मक ऊर्जा से रक्षा।

विशेष सुझाव:

पूजा करते समय शुद्ध मन और श्रद्धा सबसे जरूरी होती है।

यदि समय की कमी हो तो केवल “ॐ” का जाप और ध्यान भी लाभदायक होता है।

हर दिन के अनुसार भजन, मंत्र और व्रत भी करने से विशेष फल प्राप्त होते हैं।

समापन:
हर दिन किसी न किसी देवता की पूजा करके हम अपने जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और दिव्यता ला सकते हैं। यह अभ्यास न केवल धार्मिक रूप से लाभकारी होता है बल्कि मानसिक और भावनात्मक दृष्टिकोण से भी जीवन को संतुलित और शांत बनाता है।

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